सुशासन का सच्च
पूर्णिया सदर के भाजपा विधायक राजकिशोर केसरी की मंगलवार सुबह एक स्कूल की संचालिका ने चाकू से गोदकर हत्या कर दी। हत्या विधायक के सिपाही टोला स्थित आवास पर उस समय की गयी जब वे जनता से मिल रहे थे। इससे आक्रोशित लोगों ने महिला की जमकर धुनाई कर दी। बाद में पुलिस ने उसे घायल अवस्था में कटिहार मेडिकल कालेज अस्पताल में भर्ती करवाया।
आरोपी महिला द्वारा विधायक पर यौन शोषण का आरोप लगाया गया है। हत्याकांड के विरोध में पूर्णिया में आज बाजार बंद रहा।
जानकारी के अनुसार विधायक अपने आवास पर जनता की समस्याएं सुन रहे थे। सुबह लगभग साढ़े नौ बजे स्थानीय राजहंस पब्लिक स्कूल की संचालिका रूपम पाठक उनके आवास पर पहुंची और अकेले में बात करने की इच्छा जतायी। विधायक निर्धारित स्थल से हटकर बगल में पहुंचकर उससे बात करने लगे। इतने में महिला ने अपनी काली चादर में छुपाकर लाए गये चाकू से विधायक के पेट पर वार कर दिया। चाकू लगते ही विधायक जमीन पर गिर गये। विधायक के गिरते ही उनके गार्ड और उपस्थित लोग दौड़े और महिला को पकड़ लिया। विधायक को उनकी स्कार्पियो में लाद कर सदर अस्पताल लाया गया जहां चिकित्सा के दौरान उनकी मौत हो गयी।
रूपम पाठक वही महिला थी जिसने सात माह पूर्व विधायक के खिलाफ यौन शोषण का मामला दर्ज कराया था। हालांकि बाद में इस मामले में दोनों पक्षों में सुलहनामा हो गया था। विधायक का चाकू मारने के बाद इस महिला ने आक्रोशित लहजे में कहा कि इस आदमी ने मेरे जीवन को नरक बना दिया था। जिस महिला ने विधायक का चाकू मारा उसने 28 मई 2010 कोपूर्णिया के के. हाट थाने में लगातार तीन वर्षो तक यौन शोषण करने का मामला दर्ज कराया था। जिसमें के. हाट थाना पुलिस ने कांड संख्या 182/10 में विधायक राज किशोर केसरी एवं उनके एक सहयोगी विपीन राय के खिलाफ धारा 376 के तहत मामला दर्ज किया था। थाने में दर्ज कराये गये इस मामले में महिला में चूनापुर रोड स्थित एक निजी विद्यालय राजहंस पब्लिक स्कूल की संचालिका रूपम पाठक ने आरोप लगाया था कि 14 अप्रैल 2006 को विधायक द्वारा उसके विद्यालय का उद्घाटन किया था। इसके बाद से वह विधायक के सम्पर्क में आयी। 2007 में विद्यालय के वार्षिकोत्सव का मुख्य अतिथि के रूप में आमंत्रित किया जिसमें वे शरीक भी हुए। इसी में रूपम के पति ने विधायक से स्कूल तक जाने वाली सड़क की मांग रखी। 18 अप्रैल 2007 की संध्या जब वह विधायक के आवास पर स्कूल तक जाने वाली सड़क के संबंध में मिलने गयी तो विधायक ने उसके साथ जबरन शारीरिक संबंध स्थापित किया। इस घटना के दौरान विपीन राय जो विधायक के करीबी हैं वे आवास के बाहर बैठे रहे। पीड़िता ने यह भी आरोप लगाया था कि इसके बाद वह लोक लाज के भय से चुप रही लेकिन इसके बाद विपीन राय उसे इस मामले में यह धमकी देकर की वह पूरे मामले का पोल खोल देगा उसका यौन शोषण करता रहा। हालांकि मामला दर्ज होने के बाद पुलिस अधीक्षक पूर्णिया नैयर हसनैन खान ने बायसी के पुलिस उपाधीक्षक शंकर झा को इस मामले की विशेष जांच का निर्देश दिया। मगर मामला दर्ज होने के एक माह बाद ही पहले तो रूपम पाठक ने शपथ पत्र दायर कर फिर न्यायालय में 164 के तहत अपना बयान दर्ज कराया जिसमें कहा गया है कि उसने विधायक राज किशोर केसरी एवं विपीन राय के खिलाफ जो आरोप लगाकर थाने में मामला दर्ज कराया है। वह गलत है उसने किसी के बहकावे में आकर इस तरह के आरोप लगाये थे। जिसके बाद पुलिस ने आरोप पत्र संख्या 185/10 दिनांक 31.08.10 न्यायालय में 07.09.10 को जमा किये जिसमें साक्ष्य के अभाव में इस मामले को समाप्त बताया गया। इसके बाद फिर से रूपम पाठक ने न्यायालय में 16.09.2010 को विरोध पत्र दायर किया जिसमें कहा गया कि अभियुक्तों द्वारा दिये गये दवाब के कारण उसने पूर्व में ऐसा बयान दिया। जिसके बाद न्यायालय ने सूचिका रूपम पाठक की न्यायालय में उपस्थिति की तारीख 25.03.2011 निर्धारित की थी।
पुर्णिया विधायक राज किशोर केशरी की हत्या प्राइवेट स्कूल राजहंस पब्लिक स्कूल की संचालिका रूपम पाठक ने कल क्यों की,इस पर बहस छिड़ चुका है.महिला ने विधायक जी पर यौन शोषण का आरोप लगाते हुए कहा है कि वो (विधायक) पापी है,वो मर नहीं सकता.उसने मेरी जिंदगी को नरक बना दिया था.रूपम को अपने किये पर कोई पश्चाताप नही है. दरअसल यौन शोषण के मामले को लेकर उसने न्यायालय में एक केश भी दर्ज कराया था लेकिन बतौर महिला उसपर विधायक के लोगों द्वारा दबाव बनाया गया था कि न्यायालय में आरोप के वापस लेने हेतु बयान दे.सच जो भी हो,ये कड़वा सच है कि विधायक जी की हत्या हो चुकी है,और रूपम पाठक का कड़ी सुरक्षा में अस्पताल में इलाज चल रहा है.पर इस वक्त का सबसे बड़ा सवाल क्यों कोई इस तरह क़ानून अपने हाथ में लेकर फैसला खुद सुना देता है.
विधायकों के चरित्र और शोषण नितीश के सुशासन में कोई परिवर्तन नहीं हुआ है और शायद न्याय पाने के लिए उसके समक्ष कोई और चारा भी नहीं था. वैसे तो स्वयं नितीश कुमार के चरित्र के बारे में अफवाहों का बाज़ार गर्म रहता है, परन्तु दिवंगत विधायक के मामले में तो सभी कुछ रिकार्ड पर है. डी आइ जी कहते हैं की रूपं की मानसिक स्तिथि ठीक नहीं है, ऐसा क्यों हुआ उस पर कुछ नहीं कहते है. मेरे समझ में तो राष्ट्रीय महिल आयोग को इस प्रकरण की अपने स्तर पर जांच करनी चाहिए.......
PRESS-RELEASE
ReplyDeleteNew Delhi, the 6th January ,2011.
Nationalist Congress Party National Media Convenor Prof Suraj Yadav has appealed to the Chairperson, National Women's Commission to Inquire into the case of murder of BJP MLA of Purnea Rajkishore Keshari by Rupam Pathak on 4th January,2011. The act of murder should be condemned no doubt, however, the conduct of Purnea Police is also not above board. On the direct intervention of BJP Home Minister of Sushasan Government Sushil Modi, the Police has illegally arrested the Editor of the local daily which had first broken the news of sexual exploitation of Rupam by the deceased BJP MLA. The Police has not admitted about this arrest and the wife of the Editor has expressed threat to his life.
Prof Suraj Yadav has said that the National Women's Commission should take up the matter and conduct an Inquiry, so that justice is done in this sensational murder case.
पति की जान को खतरा: रमा पाठक
ReplyDeleteपूर्णिया। विधायक हत्याकांड में बुधवार की रात गिरफ्तार किये गए पत्रकार नवलेश पाठक की पत्नी रमा पाठक ने गुरुवार को अपने पति की जान को खतरा बताते हुए कई अहम जानकारियां दी हैं। रमा ने मीडिया को बताया कि उनके पति के पास यौन शोषण मामले से जुड़ी कई अहम जानकारियां हैं। जिनके सामने आने से बिहार की राजनीति में भूचाल आ जाता। हत्यारोपी रूपम पाठक के राजहंस पब्लिक स्कूल में शिक्षिका रहीं रमा पाठक ने अपने पति की गिरफ्तारी पर सवाल उठाते हुए कहा कि एक पत्रकार को हर विषय पर लिखने का अधिकार होता है। जिसका उसके पति ने इस्तेमाल किया।
रूपम पाठक के लिखित वक्तव्य के आधार पर ही नवलेश ने यौन शोषण मामले को उजागर किया था। रमा पाठक ने कहा कि रूपम पाठक एक अनुशासन प्रिय और बोल्ड महिला है। उसने कैसे यह घटना को अंजाम दिया।
विधायक हत्याकांड की सीबीआइ जांच हो: कुमुद मिश्रा
पटना। मुझे अपनी बेटी पर गर्व है। उसने जो कुछ भी किया, एकदम सही है। इसके अलावा रूपम के पास दूसरा कोई विकल्प नहीं था। इस मामले की जांच सीबीआइ से होनी चाहिए। सीबीआइ जांच से ही परिवार को न्याय मिल सकता है। ये बातें गुरुवार को पूर्णिया के विधायक राजकिशोर केसरी की हत्या की मुख्य आरोपी रूपम पाठक की मां कुमुद मिश्रा ने राज्य मानवाधिकार आयोग में पत्रकारों से बातचीत में कहीं। उन्होंने कहा कि यौन उत्पीड़न की शिकार किसी भी महिला के सामने इस तरह का [हिंसात्मक] कदम उठाने के सिवा दूसरा कोई विकल्प नहीं बचता। विधायक पिछले छह महीने से रूपम के पति को मारने की धमकी दे रहे थे। जिससे विवश होकर उसे विधायक की हत्या का निर्णय लेना पड़ा। कुमुद ने मामले में न्याय के लिए राज्य मानवाधिकार आयोग में गुरुवार को आवेदन दिया।
आयोग के अध्यक्ष न्यायमूर्ति एसएन झा ने कहा कि मामले की गंभीरता से जांच की जाएगी और शीघ्र ही संबंधित पक्षों से रिपोर्ट
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