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I am an Indian, a Yadav from (Madhepura) Bihar, a social and political activist, a College Professor at University of Delhi and a nationalist.,a fighter,dedicated to the cause of the downtrodden.....

Sunday, September 12, 2010

दिल्ली विश्वविद्यालय में सिमेस्टर व्यवस्था का विरोध. शिक्षक संघ की अपील.


आज समाचार में दिल्ली विश्वविद्यालय में सिमेस्टर व्यवस्था पर चल रही गतिरोध के कारण शिक्षकों के हड़ताल जIरी रहने का जिक्र है - नई दिल्ली, जासं : दिल्ली विश्वविद्यालय में सेमेस्टर सिस्टम का विरोध कर रहे डूटा ने फिर सोमवार से नहीं पढ़ाने का फैसला लिया है। डूटा 13 सितंबर को प्रदर्शन करेगी और 14 और 15 सितंबर को सेमेस्टर सिस्टम पर छात्रों से बात करेगी। 16 और 17 को जनरल बॉडी की बैठक होगी। ऐसे में पूरी सप्ताह विद्यार्थियों की पढ़ाई बाधित रहेगी।
दिल्ली विश्वविद्यालय प्रशासन ने नए सत्र से विज्ञान के 13 विषयों में सेमेस्टर सिस्टम लागू किया है। इसके विरोध में डूटा हड़ताल व धरना-प्रदर्शन में लगा हुआ है। वहीं कुलपति प्रो. दीपक पेंटल कई बार शिक्षकों पर कार्रवाई की बात कह चुके हैं। डूटा का कहना है कि डीयू प्रशासन सेमेस्टर सिस्टम लागू कर दिया। इसको लेकर कॉलेजों में कोई तैयारी नहीं है। ऐसे में इसे लागू करना छात्रों के साथ खिलवाड़ है।

मैंने इस मुद्दे पर DUTA के अपील का हिंदी अनुवाद कर छात्रों के लिए पोस्ट कर रहा हूँ.
दिल्ली विश्वविद्यालय शिक्षक संघ
विद्यार्थियों को अपील
प्रिय छात्रगण,
दिल्ली विश्वविद्यालय द्वारा शिक्षण सत्र २०१०-२०११ में स्नातक स्तर पर सिमेस्टर व्यवस्था लागू किये जाने का शिक्षक संघ निम्नलिखित कारणों से विरोध कर रही है-
१. दिल्ली विश्वविद्यालय में वार्षिक परीक्षा व्यवस्था पहले से लागू है. उसे सिमेस्टर व्यवस्था से बदलने का कोई कारण नहीं दिया गया है.
२.कुलपति प्रो दीपक पेंटल जबरन सिमेस्टर व्यवस्था लागू करना चाहते हैं और इसके लिए महत्वपूर्ण निकायों जैसे विद्वत परिषद्,कार्यकारी परिषद्, कालेजों के स्टाफ काउन्सिल एवं दि वि वि शि सं से परामर्श नहीं किये.
३. दिल्ली विश्वविद्यालय सिमेस्टर व्यवस्था में एक वर्ष में दो परीक्षाओं को लेने में आधारभूत संरचनाओं की कमी के कारण तैयार नहीं है.
४.स्कूल आफ ओपन लर्निंग , जिसमें विश्वविद्यालय का लगभग आधे विद्यार्थियों की संख्या है, वार्षिक परीक्षा व्यवस्था में रहेगी. इससे उनका नियमित छात्रों के बराबर का दर्जा नहीं रहेगा.
५.सिमेस्टर व्यवस्था में दिल्ली विश्वविद्यालय के होनौर्स पाठ्यक्रम का दर्जा अपनी मूल्य खो देगा.
६. दरअसल यह विदेशी छात्रों को बीच में और पिछले दरवाजे से दाखिले का व्यवस्था करेगा.
७.सिमेस्टर व्यवस्था में बार बार परीक्षाएं होने से सह कार्य जैसे खेल-कूद,सांस्कृतिक गतिविधियों,वाद-विवाद आदि के लिए समय नहीं रहेगा.
८.सिमेस्टर व्यवस्था में उत्तर पुस्तिकाओं के पुनर्मुल्यांकन नहीं होगी और न ही असफल छात्रों को पुनः मौका मिलेगा.
९.यह शिक्षा के निजिकरण तथा उच्च शिक्षा के बाजारीकरण के दिशा में कदम है.
१०.दाखिले के लिए सीमित वक्त होने से कालेज और पाठ्यक्रम के चुनाव का अवसर नहीं मिलेगा.

अतः दिल्ली विश्वविद्यालय शिक्षक संघ स्नातक स्तर पर सिमेस्टर व्यवस्था लागु किये के विरोध में समाज और छात्रों का सहयोग की अपील करती है.

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